रक्षा मंत्री श्री राजनाथ सिंह ने 28 जून, 2021 को लद्दाख के कारू सैन्य स्टेशन में भारतीय सेना की 14 कोर के अधिकारियों और जवानों के साथ बातचीत की। अपने संबोधन में श्री राजनाथ सिंह ने सेवा में अपने प्राणों की आहुति देने वाले वीर जवानों को भावभीनी श्रद्धांजलि दी। 2020 में गलवान घाटी की घटना के दौरान राष्ट्र ने कहा कि देश उनके सर्वोच्च बलिदान को कभी नहीं भूलेगा। उन्होंने घटना के दौरान भारतीय सेना द्वारा प्रदर्शित अनुकरणीय साहस की सराहना की और कहा कि देश को अपने सशस्त्र बलों पर गर्व है।
श्री राजनाथ सिंह ने कहा कि भारत एक शांतिप्रिय राष्ट्र है जो कभी भी किसी भी प्रकार की आक्रामकता का सहारा नहीं लेता है, लेकिन साथ ही, उकसाए जाने पर वह हमेशा मुंहतोड़ जवाब देने के लिए तैयार रहता है। उन्होंने पड़ोसी देशों के साथ बातचीत के माध्यम से विवादों को सुलझाने के सरकार के रुख को दोहराया, लेकिन राष्ट्र को आश्वासन दिया कि देश की सुरक्षा और सुरक्षा से किसी भी कीमत पर समझौता नहीं किया जाएगा। उन्होंने सशस्त्र बलों को हर संभव सहायता का आश्वासन दिया, प्रधान मंत्री श्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में सरकार के दृष्टिकोण की पुष्टि करते हुए, एक मजबूत सेना के लिए जो हर स्थिति से निपटने में सक्षम है।
रक्षा मंत्री ने १९६५ के भारत-पाक युद्ध के साथ-साथ १९९९ के कारगिल युद्ध के दौरान उनके अमूल्य योगदान के लिए १४वीं कोर की भी सराहना की।
इस अवसर पर उत्तरी कमान के जनरल ऑफिसर-कमांडिंग-इन-चीफ लेफ्टिनेंट जनरल वाईके जोशी और 14 कोर के जनरल ऑफिसर कमांडिंग लेफ्टिनेंट जनरल पीजीके मेनन उपस्थित थे।